Innocent death due to wrong injection of quacks

झोलाछाप महिला डॉक्टर ने दो साल के मासूम को एक के बाद एक दो इंजेक्शन लगाए। इससे पांच मिनट में मासूम की मौत हो गई। बच्चे की मौत के बाद भी आरोपी महिला उसकी चाची को गुमराह करती रही। वह बच्चे को लेकर दो निजी अस्पताल में गई, जहां डॉक्टर्स ने बच्चे को मृत घोषित किया। खास तो यह रहा कि आरोपी महिला और उसके रिश्तेदारों ने रात 10 बजे कार से शव को सुनसान इलाके में फेंक दिया। वहीं साथ में मौजूद उसकी चाची, जो महिला का विरोध कर रही थी, को लात-घूसों से पीटा। सूचना पर पुलिस रात को ही मौके पर पहुंची। पुलिस ने पीड़ित परिवार से रिपोर्ट भी ली। प्रत्यक्षदशिर्यों ने बताया कि दोनों ही पक्षों के बीच रात को मौताणे को लेकर भांजगड़ा हुआ। यहां पर बच्चे की जिंदगी की कीमत परिवार ने 10 लाख रुपए लगाई। बाद में मामला 5 लाख रुपए तक पहुंचा, लेकिन बात नहीं बनी तो पीड़ित परिवार शुक्रवार दोपहर थाने में FIR कटाने के लिए बैठा रहा। मामला कुशलगढ़ थाने के थांदला रोड का है।

बुखार देखने के बाद दिए दो इंजेक्शन

पुलिस ने बताया कि परनाला निवासी श्रद्धा लबाना, जो कि कथित झोलाछाप है, का थांदला रोड पर मकान और क्लीनिक है, जहां गुरुवार शाम को जाड़ी निवासी रेखा पत्नी नरेश कटारा उसके भतीजे आयुष (2) पुत्र नरबेश कटारा को लेकर आई। बुखार देख आरोपी महिला ने उसे दो इंजेक्शन दिए। उसी समय बच्चे के मुंह से झाग निकलने लगे। रेखा का आरोप है कि बच्चा मरने के बाद भी महिला ने उसे ड्रिप चढ़ाई।महज दो मिनट बाद ड्रिप अपने आप बंद हो गई। इसके बाद आरोपी महिला बच्चे को गोद में लेकर कुशलगढ़ के भारती हॉस्पिटल गई, जहां डॉक्टर ने बच्चे को मृत बताया। महिला फिर दूसरी बार बच्चे और रेखा को साथ लेकर बांसवाड़ा के केएल दोसी हॉस्पिटल आई। वहां भी डॉक्टर ने बच्चे को मरा हुआ बताया। रात को महिला रेखा और मरे हुए शव को लेकर कुशलगढ़ की ओर रवाना हुई। बीच रास्ते में आरोपी महिला के उसके करीब 60 रिश्तेदार बीच रास्ते में जमा हो गए। आरोप है कि परनाला गांव की सड़क पर आरोपी महिला ने बच्चे का शव कार से फेंक दिया। वहीं विरोध कर रही रेखा के साथ मारपीट की। सूचना पर पुलिस आई और शव को मोर्चरी में शिफ्ट कराया। वहीं रेखा को लेकर थाने गई।

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